पंचामृत योजना | Panchamrut Yojana 2023, रजिस्ट्रेशन, ऑनलाइन आवेदन, लाभ, अधिकारिक पोर्टल, टोल फ्री नंबर (Panchamrut Yojana in Hindi), (Online Registration, How to Apply, Benefit, Official Website, Portal, Toll free Number)
नमस्कार दोस्तों, देश की विभिन्न सरकारों द्वारा समय-समय पर देश के नागरिकों के लिए योजनाएं शुरू करती रहती है।भारत की प्रधानमंत्री जी नई-नई योजनाऐ लाते रहते हैं।भारतीय किसानों की आय को दोगुना करने के लिए प्रधानमंत्री जी ने किसान सम्मान निधि, प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना,इत्यादि योजनाओं के माध्यम से किसानों को आर्थिक मदद प्रदान की है। इसी के साथ सरकार द्वारा किसानों की आय में वृद्धि करने के लिए पंचामृत योजना को शुरू किया है, न्यूनतम लागत में अधिकतम उत्पादन करने व उत्पादन का उचित मूल्य प्राप्त करने के लिए इस योजना को शुरू किया गया है। इस योजना के अंतर्गत ड्रिल फसल, पेडी प्रबंध, कचरा मल्चिंग,गन्ना की वुवाई के लिए ट्रेंच प्रबंध व सह-फसल को शामिल किया गया है।
पंचामृत योजना क्या है? Panchamrut Yojana Kya Hai?
उत्तर प्रदेश सरकार के अनुसार पंचामृत योजना के माध्यम से गन्ने के उत्पादन लागत को कम करने के साथ-साथ पाँच तकनीको के माध्यम से भूमि की उर्वरता को बढाने का प्रयास किया गया है। इस पद्दति से गन्ने की बुवाई के लिए ड्रिल फसल, पेडी प्रबंध, कचरा मल्चिंग,गन्ना की वुवाई के लिए ट्रेंच प्रबंध व सह-फसल बिधि सामिल है।
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पंचामृत योजना के मुख्य बिंदु–
- इस योजना के तहत जिलेबार का लक्ष्य निर्धारित किया गया है।
- किसानों की आय बढ़ाने के लिए नई तकनीक का प्रयोग किया जाएगा ।
- इस योजना की सहायता से गन्ने की खेती करने वाले किसानों को काफी फायदा मिलेगा।
- गन्ने की पराली जलाने से प्रदूषण होता है, इस पर सरकार ने अंकुश लगा दिया है, इस पराली को उपयोग में लाया जा सकता है।
- उत्तर प्रदेश सरकार का मुख्य लक्ष्य किसानों की आय को दोगुना करना है।
- इस योजना को सिर्फ उत्तर प्रदेश के किसानों के लिए शुरू किया गया है। उत्तर प्रदेश के गन्ना उत्पादन करने वाले किसानों को सरकार की तरफ से प्रोत्साहन राशि भी प्रदान की जाएगी।
- गन्ने की किस्म के अनुसार गन्ने का मूल्य निर्धारित किया जाएगा।
- गन्ने की बुवाई के समय ड्रिल फसल, कचरा मल्चिंग, व सह-फसल बिधि शामिल किया गया है।
- इस सीजन में बोई जाने वाली गन्ने के साथ अन्य फसले जैसे- गेहूं, टमाटर, मटर, धनिया, लहसुन, इत्यादि से फसलों की खेती कर सके, ताकि गन्ना उत्पादन करने वाले किसानों की आय में वृद्धि हो सके।
- पंचामृत योजना गन्ना उत्पादन की लागत में कमी लाएगी, गन्ने की बुवाई के लिए प्रयोग होने वाली पांच तकनीकों को ड्रिल फसल, पेडी प्रबंध, कचरा मल्चिंग,गन्ना की वुवाई के लिए ट्रेंच प्रबंध व सह-फसल बिधि शामिल किया गया है।
- उत्तर प्रदेश में गन्ना उत्पादन करने वाले 2028 किसानों का चयन किया गया है।
- इस योजना का मुख्य उद्देश्य पानी की बचत करना। पंचामृत प्रणाली के माध्यम से खर्चों को कम करना, खेती को कीटनाशक से बचाना एवं प्राकृतिक खेती को बढ़ावा देना यही इस योजना का मुख्य लक्ष्य है।
अक्सर पूछ जाने बाले प्रश्न (FAQ) –
QUESTION- पंचामृत योजना क्या है?
ANSWER- पंचामृत योजना के माध्यम से गन्ने के उत्पादन लागत को कम करने के साथ-साथ पाँच तकनीको के माध्यम से भूमि की उर्वरता को बढाने का प्रयास किया गया है।
QUESTION- पंचामृत योजना का लक्ष्य क्या है?
ANSWER- उत्तर प्रदेश सरकार का मुख्य लक्ष्य किसानों की आय को दोगुना करना है।
QUESTION- गन्ने की बुवाई के लिए प्रयोग होने वाली पांच तकनीक कौन कौन सी है?
ANSWER- ड्रिल फसल, पेडी प्रबंध, कचरा मल्चिंग,गन्ना की वुवाई के लिए ट्रेंच प्रबंध व सह-फसल बिधि शामिल किया गया है।
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